Sam Bahadur: थलसेना की विक्की कौशल को चेतावनी, ‘बेहतर यही होगा कि तुम अच्छा काम करना, वह हमारे सर्वश्रेष्ठ थे’
आठ साल पहले निर्देशक नीरज घेवन की प्रशंसित फिल्म ‘मसान’ से बड़े परदे पर डेब्यू करने वाले अभिनेता विक्की कौशल ने इसके बाद से ‘राजी’, ‘संजू’ और ‘लस्ट स्टोरीज’ जैसी कहानियों में अपने किरदारों से अपने आपको एक अलग किस्म के अभिनेता के रूप में स्थापित किया है। फिल्म ‘उरी द सर्जिकल स्ट्राइक’ के लिए राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार जीत चुके विक्की की अगली फिल्म ‘सैम बहादुर’ इसी शुक्रवार को रिलीज हो रही है। विक्की के मुताबिक, इस फिल्म के सिलसिले में जब भी उनकी सेना के किसी अफसर से बात होती तो एक ही बात सुनने को मिलती, ‘बेहतर यही होगा कि तुम अच्छा काम करो। वह हमारे सर्वश्रेष्ठ इंसान थे।’
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मैं सिर्फ प्रार्थना कर रहा हूं…
आईएमडीबी के एक खास कार्यक्रम में विक्की कौशल ने ‘सैम बहादुर’ के अलावा अपने तमाम दूसरे किरदारों पर भी बात की। वह कहते हैं, ‘जब भी मैं भारतीय थल सेना के किसी भी अफसर से बात करता तो हर बार ऐसा होता था, ‘हम बहुत खुश हैं कि तुम्हें ये रोल करने का मौका मिला। लेकिन, बेहतर यही हो कि तुम अच्छा काम करो क्योंकि वह हमारे सर्वश्रेष्ठ इंसान थे और तुम उस सर्वश्रेष्ठ इंसान को परदे पर निभा रहे हो।’ मैंने फिल्म में बहुत सारे संवाद ऐसे बोले हैं जो सुनने में फिल्मी लग सकते हैं, लेकिन ये सारे संवाद खुद सैम मानेकशॉ ने अपने निजी जीवन में बोले हैं। मैं सिर्फ प्रार्थना कर रहा हूं कि जब ये फिल्म रिलीज हो तो लोग उस श्रद्धांजलि के एहसास को महसूस कर सकें, जो हम इस फिल्म के जरिये उन्हें दे रहे हैं।’
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ऐसे आया अभिनेता बनने का ख्याल
पहली बार अभिनेता बनने का ख्याल कैसे आया? यह पूछे जाने पर विक्की कौशल कहते हैं, ‘जब मैं इंजीनियरिंग की पढ़ाई कर रहा था तो हम लोगों को एक बहुराष्ट्रीय कंपनी ले जाया गया। उद्देश्य ये दिखाना था कि कॉलेज खत्म होने के बाद हमें किस तरह की संस्कृति में काम करना है। और, उसी दिन मैंने तय कर लिया था कि मुझे अपने जीवन में ये नहीं करना है। फिर मैंने खुद से पूछना शुरू किया कि मुझे ऐसा क्या करना चाहिए जिसमें मुझे खुशी मिले। और, तब मुझे उत्तर मिला कि स्नातक की पढ़ाई करने के बाद मैं अभिनेता बनना चाहूंगा।’
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कान में खुद को बड़े परदे पर देखा
फिल्म ‘मसान’ का जिक्र चलने पर विक्की कौशल ने बताया, ‘मुझे वाकई नहीं पता था कि ये फिल्म मुझ पर इतना असर डालेगी। हम बनारस में शूटिंग कर रहे थे और वहां एक अलग तरह की तिलिस्मी ऊर्जा ने मुझे अपनी तरफ खींच लिय। इस फिल्म के जरिये ही मैंने पहली बार खुद को बड़े परदे पर कान फिल्म फेस्टिवल में देखा। और, उससे एक साल पहले मैं दरवाजे दरवाजे जाकर काम मांगने की गुजारिश कर रहा था।’
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अब भी साथ हैं वासेपुर के सबक
विक्की कौशल ने लंबे समय तक अनुराग कश्यप के सहायक के तौर पर काम किया है। फिल्म ‘गैंग्स ऑफ वासेपुर’ की चर्चा चलने पर विक्की कहते हैं, ‘मैं इसे अपने फिल्म स्कूल की तरह मानता हूं। ये तमाम अच्छे कलाकारों का समागम सरीखा था जो इस फिल्म में काम करने के लिए एकत्र हुए थे। और, ये फिल्म बहुत ही कम संसाधनों से भी बनी थी। इस फिल्म से मिले सबक हरदम मेरे साथ रहते हैं और जब मैं अभिनय कर रहा होता हूं तो ये मुझे बहुत मदद करते हैं।’
कमली ने मुझे अलग एहसास दिया
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विक्की कौशल की फिल्म ‘सैम बहादुर’ इस शुक्रवार को रणबीर कपूर की फिल्म ‘एनिमल’ के साथ रिलीज हो रही है। दोनों ने एक साथ फिल्म ‘संजू’ में काम भी किया है। विक्की बताते हैं, ‘इस फिल्म में मुझे सर्वश्रेष्ठ निर्देशकों में से एक राजकुमार हिरानी के साथ काम करने का मौका मिला। मुझे कुछ ऐसा करने को मिला जिसका आधार बहुत ही अच्छी लिखाई थी। मुझे रणबीर के साथ काम करने का मौका। मैंने तमाम कलाकारों से ये सुना है कि अपने किरदार के नाम से पुकारे जाने का अनुभव ही अलग होता है। और, इस फिल्म के किरदार कमली ने मुझे ये एहसास करने का मौका दिया।’
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विक्की कौशल की आखिरी मेगा हिट फिल्म ‘उरी द सर्जिकल स्ट्राइक’ रही है। इस फिल्म का जिक्र चलते ही उनका चेहरा दमक उठता है। वह कहते हैं, ‘ये फिल्म मेरे जीवन में एक अभिनेता के तौर पर सबसे बड़ा टर्निंग प्वाइंट बनकर आई। ये फिल्म भारतीय थलसेना को सलामी थी। चार महीने के लिए एक बूट कैंप लगाया था जिसमें मुझे ट्रेनिंग करनी थी। मुझे भारतीय थल सेना के लोगों ने प्रशिक्षित किया था और मुझे इस फिल्म के लिए राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार भी मिला। वह दिन मेरे जीवन की सबसे बड़ी खुशी का दिन था क्योंकि ये सम्मान ही बहुत बड़ा है।’
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